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सपा विधायक सुधाकर सिंह का निधन, लखनऊ के मेदांता अस्पताल में ली अंतिम सांस
Jagran Desk
लीवर और किडनी की बीमारी से जूझ रहे पूर्वांचल के प्रभावशाली नेता 58 वर्ष की उम्र में चल बसे; राजनीति में बेबाक अंदाज और तीन बार विधायक रहने के लिए याद किए जाएंगे।
उत्तर प्रदेश की घोसी विधानसभा सीट से समाजवादी पार्टी के विधायक सुधाकर सिंह का बुधवार सुबह निधन हो गया। लंबे समय से लीवर और किडनी संबंधी बीमारियों से जूझ रहे 58 वर्षीय नेता को तबीयत बिगड़ने पर मेदांता अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। यह खबर आज की ताज़ा ख़बरों में छाई हुई है और पूरे सपा परिवार में शोक की लहर दौड़ गई है।
सुधाकर सिंह दिल्ली से लौट रहे थे, जहां वे माफिया मुख्तार अंसारी के छोटे बेटे उमर अंसारी की पत्नी को आशीर्वाद देकर निकले थे। इसी दौरान उनकी तबीयत अचानक बिगड़ी और उन्हें तुरंत लखनऊ लाया गया। डॉक्टरों की टीम ने दो दिन तक उनकी स्थिति सुधारने का प्रयास किया, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका। उनका निधन भारतीय राजनीति के लिए बड़ी क्षति माना जा रहा है।
बेबाक अंदाज के लिए जाने जाते थे सुधाकर सिंह
पूर्वांचल में ‘शेर-ए-घोसी’ के नाम से पहचाने जाने वाले सुधाकर सिंह का राजनीतिक सफर संघर्ष, जनसमर्थन और बेबाकी से भरा रहा। वे तीन बार विधायक रहे — एक बार मधुबन और दो बार घोसी विधानसभा से। जनता के मुद्दों पर सीधे आवाज उठाने के कारण उन पर कई मुकदमे भी दर्ज हुए और वे कई बार जेल भी गए, लेकिन इससे उनकी लोकप्रियता और बढ़ी। सपा नेताओं का कहना है कि वे संगठन और जनता के बीच एक मजबूत कड़ी थे।
मुलायम सिंह यादव से भी की थी बगावत
सुधाकर सिंह की राजनीतिक यात्रा का एक महत्वपूर्ण अध्याय वह था जब 2017 के विधानसभा चुनाव के दौरान सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव ने उनका टिकट काट दिया था। इससे नाराज होकर उन्होंने निर्दलीय चुनाव लड़ने का फैसला किया और खुले तौर पर पार्टी नेतृत्व के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। बाद में अखिलेश और मुलायम गुटों के बीच सुलह के बाद वे वापस सपा में लौट आए। यह घटना उनके मजबूत व्यक्तित्व और सिद्धांतवादी राजनीति का प्रतीक मानी जाती है।
2023 उपचुनाव में दर्ज की थी ऐतिहासिक जीत
2023 में घोसी उपचुनाव सपा और भाजपा दोनों के लिए प्रतिष्ठा का विषय था। भाजपा उम्मीदवार दारा सिंह चौहान के समर्थन में पूरी सरकारी मशीनरी झोंक दी गई थी। इसके बावजूद सुधाकर सिंह ने लगभग 50 हजार वोटों के अंतर से बड़ी जीत हासिल की। यह नतीजा योगी सरकार के लिए करारा झटका और सपा के लिए मनोबल बढ़ाने वाला साबित हुआ। घोसी की जनता ने उस चुनाव में सुधाकर के साथ खड़े होने का स्पष्ट संदेश दिया।
सपा में शोक, अंतिम संस्कार आज
समाजवादी पार्टी ने सुधाकर सिंह के निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया है। पार्टी की ओर से जारी संदेश में कहा गया कि “सपा ने एक निर्भीक योद्धा खो दिया।”
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भावुक प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि “सुधाकर भाई मेरे परिवार का हिस्सा थे। उनकी कमी कभी पूरी नहीं होगी।”
सुधाकर सिंह का पार्थिव शरीर आज शाम घोसी ले जाया जाएगा, जहां कल सुबह उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा। राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय समाचार प्रवाह में यह खबर लगातार अपडेट हो रही है और यूपी की राजनीति पर इसका दूरगामी प्रभाव देखा जा रहा है।
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